राजस्थान बिश्नोई जालौर सांचोर - उपखण्ड के हाड़ेतर निवासी युवा उधमी किरण ढाका ने शनिवार को राजकीय प्राथमिक विद्यालय जोधा की ढाणी में अध्यनरत ढाई सौ विद्यार्थियों को साढ़े तीन सौ ग्राम स्टॉबेरी का पैकेट व प्रत्येक विद्यार्थी को पांच पांच पैन अपने पिता स्वर्गीय वगताराम ढाका की तृतीय पुण्यतिथि पर भेट की। ज्ञात रहे कि स्वर्गीय वगताराम के दोनो पुत्र किरण व जगदीश ढाका ने गरीब व असहाय बच्चों को उच्च शिक्षा के लिए बिश्नोई समाज के शिक्षित लोगो द्वारा संचालित समराथल फाउंडेशन सोसायटी के प्रस्तावित समराथल सदन में एक कमरा जिसकी अनुमानीत लागत साढ़े पाँच लाख सहयोग राशि दी। किरण ढाका ने कहा कि पिताजी को गुजरे हुए करीब तीन साल हो गऐ है। सच में जिंदगी किसी के लिए नहीं रुकती हालाँकि पिताजी चले गए हैं,लेकिन उनकी यादें और अच्छे काम उन लोगों के बीच गूंजते हैं जिन्हें वे जानते थे। मैं जिससे भी मिलता हूं,उसकी और उसके अच्छे कामों की तारीफ करता हूं। मैंने उनकी पुण्यतिथि पर एक अभियान चलाने का फैसला किया है,जिसके तहत मैं आप सभी से गरीब लोगों को खिलाने के लिए दिल से दान करने का आह्वान करता हूं। मैं यह सुनिश्चित करूंगा कि उनकी पुण्यतिथि पर सैकड़ों भूखे लोगों को भोजन कराया जाए। (उनकी) परोपकार की भावना को जारी रखने के लिए। मैंने उनकी आत्मा के लिए एक बहुत ही खास तरीके से प्रार्थना करने का फैसला किया है। स्मरण के निशान के रूप में,मैंने एक सामाजिक पहल की है - उनकी प्रिय स्मृति में। हर बार जब हम भोजन के बारे में सोचते हैं तो सबसे महंगे और भव्य रेस्तरां की सूची हमारे दिमाग में आती है। हम केवल बेहतरीन गोरमेट चुनते हैं। हमारे दिन में एक स्वस्थ नाश्ता शामिल है। धूमधाम से दोपहर का भोजन और भव्य रात का खाना लेकिन सड़कों पर रहने वाले कई बेसहारा बच्चे हैं जो दिन-ब-दिन भूख की भीषण पीड़ा का अनुभव करते हैं - भोजन का एक निवाला भी न पाकर। वे मदद मांगते हैं जिनकी मदद करना हम सबका परम कर्त्तव्य है। जगदीश ढाका ने कहा कि पिताजी की प्रथम व द्वितीय पुण्यतिथि पर निःशुल्क नेत्र चिकित्सा शिविर व गौशाला में गौवंश को चारे की व्यवस्था की थी आगे भी पिताजी की पुण्यतिथि को चिरस्थाई रखने के लिए परोपकार के कार्यो को बढ़ावा देने की कोशिश करेंगे।
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