बिश्नोई इंजीनियर ने बालकों की दिनचर्या नामक पुस्तके निःशुल्क भेट की

बिश्नोई समाचार बाङमेर धोरीमन्ना - पुस्तकों के प्रति प्रेम जीवन को सार्थक बनाता है । जो व्यक्ति जीवन में पुस्तकों के प्रति प्रेम प्रदर्शित करता है, पुस्तकें उसे जीवन भर बहुत कुछ देती है । पुस्तकों से दोस्ती करने की जरूरत है । यह विचार प्राचार्य राममनोहर बिश्नोई ने व्यक्त किए । प्राचार्य ने आदर्श राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय राणासर कल्ला में जाम्भाणी बालकों की दिनचर्या नामक पुस्तिका वितरण कार्यक्रम में कहा की इस पुस्तक के माध्यम से विद्यालय के बालकों का पुस्तकों के प्रति एक वातावरण निर्मित होगा जिससे आने वाले दिनों में विद्यार्थियों में पुस्तकों के प्रति प्रेम परिलक्षित होगा ।  यह पुस्तके विद्यालय के पूर्व छात्र इंजीनियर अशोक विश्नोई ने पढ़ने वाले बच्चों को निःशुल्क भेट की । इस दौरान इंजीनियर अशोक विश्नोई ने कहा कि शुरू से ही मुझे किताबे पढ़ने का शौक था जिसके चलते मैने राणासर कल्ला व कोलियाना विद्यालय में अध्यनरत विद्यार्थियों को 500 पुस्तके भेट की जिससे कि विद्यार्थी पुस्तक में दी गई सकारात्मक व ज्ञानवर्धक बातों को गहनता से पढ़कर के अपने भविष्य की रूपरेखा तैयार कर सकेंगे । इस अवसर पर प्राचार्य राममनोहर बिश्नोई करनाराम गोदारा अध्यापक नरसीराम मेघवाल प्रधानाध्यापक किशनसिंह चौहान राजूराम जांगु शंकरलाल जांगु अर्जुनराम बोला हरिकिशन शर्मा बाबूसिंह बाघसिंह इंजीनियर अशोक विश्नोई राजूराम गोदारा सहित विद्यालय स्टाफ उपस्थित रहा ।

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